PRESS INDIA 24 अब बना रजिस्टर्ड मीडिया , भारत सरकार से मिला रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट ।
दिल्ली - आपको बताते हुए ये हर्ष हो रहा है । कि कुछ सालों से न्यूज़ वेबपोर्टल्स चलाने वाले लोगो मे असमंजस की स्थिति बनी हुई थी कोई फर्जी पत्रकार बताता था , तो कोई सोशल मीडिया , लेकिन अब तस्वीर काफी हद तक साफ हो चुकी है । भारत सरकार के सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने भारत मे चल रहे सभी न्यूज़ पोर्टल्स की डिटेल्स मांगी थी । जिससे कि वो सरकार की नज़र में रह सकें तथा सरकार को ये पता रहे कि कौन सा वेबपोर्टल कहाँ से संचालित हो रहा है । तथा कौन चला रहा है । जिससे सरकार उनके लिए उपयुक्त नियमावली निर्धारित कर सके । साथ ही सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने अपनी वेबसाइट पर न्यूज़ पोर्टल्स को लेकर कुछ नियम जारी किए है । सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय द्वारा बताए गए नियमो के अनुसार ही वेबपोर्टल्स को कार्य करना होगा । संक्षेप में कहे तो सरकार ने मीडिया की स्वतंत्रता का ध्यान रखते हुए वेब मीडिया को भारतीय प्रेस परिषद ( press council of india ) के नियमो के अंतर्गत कार्य करने के लिए कहा है । जिसका साफ मतलब है कि वेबपोर्टल्स भी अब सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय के अंतर्गत आ गए है ।
यही नही प्रत्येक वेबपोर्टल को या तो अपना एक ग्रीवांस सेल बनाना होगा या फिर शिकायत के निपटारे के लिए नियामवली निर्धारित करनी होगी जिससे अगर किसी को आपकी ख़बर से कोई समस्या है तो वो सीधा एडिटर से उसकी शिकायत कर सके । शिकायत का निपटारा एडिटर या उसके द्वारा अधिकृत किया गया कोई अन्य अधिकारी भी कर सकता है । वेबपोर्टल्स द्वारा शिकायत का निबटारा ना होने की स्थिति में मामला न्यायालय भी जा सकता है ।
इसका मतलब है पारंपरिक मीडिया की तरह वेबपोर्टल्स के मामले में भी किसी कंटेंट/खबर/विवाद के लिए एडिटर ही जिम्मेदार माना गया है ।
आपको बताते चलें वेबपोर्टल्स के लिए MSME में रजिस्ट्रेशन कराने को महत्वूर्ण माना गया है । MSME की वेबसाइट पर निम्न लिखित एनआईसी कोड्स में रजिस्ट्रेशन किया जा सकता है ।
. टू डिजिट एनआईसी कोड - 63
(Information service activities)
. फोर डिजिट एनआईसी कोड - 6312
(webportals)
. तथा फाइव डिजिट एनआईसी कोड - 63122
( opration of other website that act as portals to the internet such as media sites provided periodically updated contant )
MSME में रेजिस्ट्रेशन करने के बाद वेबपोर्टल्स एक मीडिया कंपनी की तरह कार्य कर सकते है । तथा अपनी वेबसाइट पर समाचार अपडेट कर सकते है । लेकिन ध्यान रहे कि MSME रजिस्ट्रेशन आपको खबर की covrage या press लिखने की अनुमति नही देता है ।
MSME में रजिस्ट्रेशन के लिए GSTN को अनिवार्य कर दिया गया है । तथा यही एकमात्र स्थान है जहां वेबपोर्टल्स को रजिस्टर्ड किया जा सकता है ।
वैसे तो वेबपोर्टल्स को लेकर अलग-अलग राज्यो में अलग अलग नियमावली है । कुल मिला कर MSME के अंतर्गत वेबपोर्टल्स के रजिस्ट्रेशन को स्थान दिया गया है ।
"भारतीय प्रेस परिषद" (पीसीआई) के नियमो के अनुपालन के साथ-साथ वेबपोर्टल्स को अपने लिए स्वयं भी नियम बनाने होंगे तथा उन्हें लागू भी करना पड़ेगा तथा पारंपरिक मीडिया की तरह वो भी स्वतंत्र रूप से अपने बनाए नियमो के अंतर्गत कार्य कर सकते है । सरकार के इस कदम से वेबपोर्टल्स चलाने वाले मीडिया कर्मियों के अंदर एक ऊर्जा का संचार हुआ है । जिस तरह से पहले उन्हें निम्न दृष्टि से देखा जाता था वो एक चिंता का विषय बना हुआ था । पता ही नही था कि हम कहाँ है । लेकिन अब हम भी वेब मीडिया बन कर देश की सेवा कर सकते है । तथा समाज की छोटी से छोटी खबर भी जनता के सामने प्रस्तुत कर सकते है ।
आपके लिए यह भी जानना महत्वपूर्ण होगा कि ये प्रक्रिया न्यूज़ वेबसाइट के लिए है लेकिन यदि किसी का केवल यूट्यूब चैनल है वेबसाइट नही है तो संशय बना हुआ है ।।
www.pressindia24.com ने सरकार के द्वारा निर्देशित नियमो का पालन करते हुए MSME में रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया को सफलतापूर्वक पूर्ण कर लिया है । तथा रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट भी प्राप्त हो गया है । यही हमने अपनी वेबसाइट पर शिकायत के लिए कंप्लेंट फॉर्म भी ऐड कर दिया है । तथा नए नियमो के साथ फिर से मैदान में उतर गए है ।
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